इंसान की व्यवस्थायें बहुत अच्छी हो सकती हैं । परन्तु उनमें दोष न हो, ऐसा सम्भव नहीं । कार्य बहुत अच्छे हो सकते हैं, मगर दोष रहित न हों ऐसा नहीं हो सकता। कहीं न कहीं कुछ न कुछ कमियों तो रह जाती है, क्योंकि इंसान अपूर्ण है। पूर्णता तो सिर्फ़ ईश्वर में है और जहाँ पूर्णता है वहां आनन्द है, सुख है, शांति है, चैन है। लेकिन यह सब उसी को मिलता है, जो उस पूर्ण से जुड़ जाता है। उस परमपिता से जुड़ने के बाद फ़िर कोई कमी नहीं रह जाती।
परम पूज्य सु्धांशुजी महाराज
All provisions and arrangements done by humans can be of high quality but they can not be flawless - it is not possible. All actions can be excellent but again they can not be without some sort of defect. Somewhere something is missing because human beings are not perfect. Perfection and preciseness is only in God and where there is perfection, there is bliss, happiness, peace and serenity. The one who connects with this perfection will get these things. There will be no scarcity of these things after connecting to the Almighty.
Translated by Humble Devotee
Praveen Verma
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